हमीरपुर जिले के महिला थाने में आज एक शादी संपन्न कराई गई है। इस शादी में न सिर्फ वर-वधु के परिजन शामिल हुए बल्कि पुलिसकर्मी भी इस शादी के गवाह बने। टूट चुकी शादी को अमलीजामा पहनाये जाने में विधिक सेवा प्राधिकरण ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है।
हमीरपुर मुख्यालय का महिला थाना आज उस वक्त ढोल नगाड़ों से गूंज उठा जब यहां शादी से पहले ही टूट चुके रिश्ते एक बार फिर राजी खुशी से शादी करने को तैयार हो गए। दर असल नेठी गांव की रहने वाली युवती अंकिता के परिजनों ने पुलिस को तहरीर दी थी की उसकी शादी घाटमपुर के परसेढ़ा गांव के रहने वाले राघवेंद्र कुमार के साथ तय हुई थी, और ओली की रस्म भी हो चुकी थी। लेकिन अचानक उनको संदेश मिला की वर पक्ष बारात लेकर नहीं आएगा। इसी बात से परेशान होकर अंकिता परिजनों के साथ महिला थाने पहुंच गई थी।
युवती द्वारा दी गई तहरीर को पुलिस ने गंभीरता से लेते हुए जब वर पक्ष को भी थाने में तलब किया तो पता चला की दोनों परिवारों के बीच रिश्ता तय कराने वाला ही कुछ गलतफहमियां पैदा कर के इस रिश्ते को खत्म करना चाहता था। तय हो चुकी शादी में आई खटास को दूर करते हुए शादी संपन्न कराई जाए इसके लिए विधिक सेवा प्राधिकरण ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई और दोनों परिवारों के बीच आई खटास को दूर कराते हुए शादी के लिए राज़ी कर लिया।
विधिक सेवा प्राधिकरण में पीएलवी के पद पर तैनात छाया प्रजापति ने बताया की दोनों परिवारों के बीच संबंध तय कराने वाला मीडियेटर ने ही मिसगाइड करते हुए गलतफहमियां पैदा कर दी थीं। काउंसलिंग के द्वारा समझौते के दौरान सामने आया की दोनों परिवारों को कोई दिक्कत नहीं है। मीफियेटर ने ही मिसगाइड किया हुआ था। गलतफहमियां दूर हो जाने के फौरन बाद ही महिला थाने में दोनों की शादी संपन्न करा दी गई है।
रिपोर्ट हरिश्चंद राजपूत