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नई दिल्ली:पीएम ने देश के प्रथम राष्ट्रपति भारत रत्न डॉ.राजेंद्र प्रसाद की जयंती पर उन्हें अर्पित की श्रद्धांजलि

-अंतर्राष्ट्रीय दिव्यांग दिवस पर नरेन्द्र मोदी ने दी बधाई,बाघों के संरक्षण के सामूहिक प्रयासों की सराहना

  • REPORT BY: AAJNATIONAL NEWS ||AAJNATIONAL NEWS DEASK

नई दिल्ली:पीएम नरेंद्र मोदी ने जहाँ देश के प्रथम राष्ट्रपति भारत रत्न डॉ.राजेंद्र प्रसाद की जयंती पर उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित की।वही अंतर्राष्ट्रीय दिव्यांग दिवस पर बधाई दी,इसके आलावा उन्होंने बाघों के संरक्षण की दिशा में सामूहिक प्रयासों की सराहना भी की है। देश के पीएम नरेन्द्र मोदी ने आज देश के प्रथम राष्ट्रपति भारत रत्न डॉ.राजेंद्र प्रसाद की जयंती पर उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित की। उन्होंने भारतीय लोकतंत्र की मजबूत आधारशिला रखने में डॉ. प्रसाद के अमूल्य योगदान की सराहना की।पीएम नरेन्द्र मोदी ने एक्स पर अपनी एक पोस्ट में लिखा है कि देश के प्रथम राष्ट्रपति भारत रत्न डॉ. राजेन्द्र प्रसाद जी को उनकी जन्म-जयंती पर आदरपूर्ण श्रद्धांजलि। संविधान सभा के अध्यक्ष के रूप में भारतीय लोकतंत्र की सशक्त नींव रखने में उन्होंने अमूल्य योगदान दिया। आज जब हम सभी देशवासी संविधान के 75 वर्ष का उत्सव मना रहे हैं,तब उनका जीवन और आदर्श कहीं अधिक प्रेरणादायी हो जाता है।

अंतर्राष्ट्रीय दिव्यांग दिवस पर नरेन्द्र मोदी ने दी बधाई

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने आज सुगम्य भारत अभियान के 9 वर्ष पूरे होने पर बधाई दी। उन्होंने दिव्यांग बहनों और भाइयों के लिए पहुंच,समानता तथा अवसर को और बढ़ाने के लिए सरकार की प्रतिबद्धता दोहराई।उन्होंने ने दिव्यांग बहनों और भाइयों के धैर्य और उपलब्धियों की सराहना करते हुए कहा कि इसने हम सभी को गौरवान्वित किया है।प्रधानमंत्री ने अंतर्राष्ट्रीय दिव्यांग दिवस पर अपना लिखा एक पोस्ट साझा किया है।इसके आलावा प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने अंतर्राष्ट्रीय दिव्यांग दिवस पर अपने द्वारा लिखी गई एक पोस्ट साझा करते हुए देश भर में हमारे दिव्यांग भाइयों और बहनों के सम्मान और स्वाभिमान के लिए सरकार की प्रतिबद्धता दोहराई।

नरेन्द्र मोदी ने की बाघों के संरक्षण की दिशा में सामूहिक प्रयासों की सराहना

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने बाघों के संरक्षण की दिशा में सामूहिक प्रयासों की सराहना करते हुए आज कहा कि समय के साथ भारत में बाघों की संख्या बढ़ रही है। उन्होंने कहा कि भारत में 57वें बाघ अभयारण्य को शामिल करना प्रकृति के संरक्षण के प्रति हमारे सदियों पुराने लोकाचार के अनुरूप है।

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