बरेली बीजेपी के पूर्व सांसद धर्मेन्द्र कश्यप की प्रेम कहानी भी तो अजीबो गरीब। पंचर जोड़ते जोड़ते बने सांसद,खूब पैसे बांटे शराब भी बांटी लेकिन फिर भी हारे और हो गई हरे हरे राम।सांसद जी समझ रहे थे पैसे से खरीद लेंगे । लेकिन हुआ कुछ उल्टा।
लोकसभा चुनाव का परिणाम घोषित हो गया है, समय को देखते हुए बीजेपी डींगे हाक रही थी चार सौ पार कहा है चार सौ पार, इसी तरह से बीजेपी प्रत्याशी धर्मेंद्र कश्यप भी डींगे हाक रहे थे हमे कोई हराने वाला नही है। सपा ने भारी शिकस्त के साथ बीजेपी के यानी आंवला से दो बार रहे सांसद धर्मेंद्र कश्यप को भारी मतों से हराया है।
धर्मेंद्र कश्यप भूल गए कि ये जनता है कभी भी वार कर सकती है, जब जनता इनकी घर जाती थी तब यही सांसद धर्मेंद्र कश्यप घिनौनी गलियों देकर भागते थे जिससे जनता परेशान हो गई थी और जनता ने भी ईंट का जवाब पत्थर से दिया है।
धर्मेंद्र कश्यप ने सभी प्रधानों को खरीदने का काम किया वही अगर हम बात करे मीडिया की तो बड़े बड़े धुरंधरों को भी पैसे का लालच दिया गया घर बैठे लिफाफा पहुंचाया गया लेकिन फिर भी करारी हार का सामना करने पड़ा।
बीजेपी के पूर्व सांसद धर्मेंद्र कश्यप ने चुनाव के दौरान केवल 40 गाड़ियों की परमिशन थी लेकिन चली कितनी अनगिनत, और लगभग 25 लाख प्रतिदिन का खर्चा बहन किया गया कहा था इलेक्शन कमीशन। सत्ता की हनक में सांसद जी भूल बैठे। लेकिन जनता एक एक जवाब देने को मूढ़ बनाकर बैठी हुई थी।कई साल पहले सत्ता में रहकर कई गावों को गोद लिया था सांसद जी ने वहा भी कई बार कहा सुनी हुई, आंवला के गांव उसेता में दस साल में कभी गए ही नहीं। जनता का कहना था कि हमे धर्मेंद्र कश्यप से कोई लेना देना नही हमारी तो मजबूरी है फूल को वोट देना। सांसद जी ने फूल की गुर्री में भी जाना उचित नहीं समझा।
सांसद जी का वीडियो भी वायरल हुआ पप्पू, डब्बू वाला तो ठाकुर पंडित खिसिया गए और कलाकार को कलाकारी से ही मात दे डाली।
रिपोर्ट रूपेन्द्र कुमार