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मोहनलालगंज:धौरहरा गाँव में करोड़ो की जमीन जालसाज के नाम दर्ज करने के फर्जीवाड़े में आखिर दर्ज हुआ मुकदमा

REPORT BY:ANUPAM MISHRA|EDITED BY-आज नेशनल न्यूज डेस्क

-मोहनलालगंज पुलिस ने राजस्व निरीक्षक की तहरीर पर सविंदाकर्मी समेत एक जालसाज पर दर्ज किया मुकदमा,आधा दर्ज‌न सदिग्धों से की पूंछतांछ

लखनऊ।मोहनलालगंज तहसील के धौरहरा गांव में चार महिला किसानो की 15 करोड़ रूपये कीमत की साढे आठ बीघे जमीन को फर्जी तरीके से बिना किसी प्रपत्रो के डिजिटल की के जरिये जालसाजों के नाम दर्ज कराने के मामले में पुलिस ने राजस्व निरीक्षक की तहरीर पर सविदाकर्मी समेत दो के विरूद्व मुकदमा दर्ज कर जांच शुरू कर दी है।पुलिस ने पूरे फर्जीवाड़े के खेल में रडार पर आये आधा दर्जन लोगो को हिरासत में लेकर पुछताछ शुरू कर दी है।बताते है कि मोहनलालगंज तहसील के धौरहरा गांव में प्रेमावती,सावित्री, कृष्णावती और कलावती के नाम दर्ज करोड़ो की बेशकीमती साढे आठ बीघे के आस-पास जमीन को फरवरी में रियल टाइम खतौनी तैयार करते समय बिना किसी आदेश के उन सबका नाम गायब कर राम आधार निवासी धौरहरा के नाम दर्ज कर दी गयी थी,जिसके बाद प्रापर्टी डीलर रामसूचित यादव उर्फ राजन समेत अन्य कई लोगो ने इस बेशकीमती जमीन का रामआधार से रजिस्टर्ड एग्रीमेंट कराकर प्लाटिंग करने के लिये मिट्टी पटाई शुरू कर दी थी।जब इस मामले कि चारों बहनों को भनक लगी तो उन्होंने  थाना व तहसील में शिकायत भी की लेकिन कोई कार्यवाही नही हुयी जिसके बाद चारों बहनो ने डीएम से शिकायत कर कार्यवाही की मांग की थी।डीएम ने पूरे फर्जीवाड़े में शामिल लोगो पर कार्यवाही के साथ ही इन्द्राज निरस्त करने के आदेश एसडीएम को दिये थे।जिसके बाद 28 अगस्त को एसडीएम बृजेश कुमार वर्मा ने खतौनी से फर्जी इंद्राज निरस्त कर जमीन फिर से वास्तविक किसानों के नाम दर्ज कराते हुये डिजिटल की चुराकर फर्जीवाड़ा करने के मामले में राजस्व निरीक्षक हरेन्द्र सिंह से सविंदाकर्मी हेरम्ब शुक्ला व जालसाज राम आधार पर कार्यवाही किये जाने की तहरीर दी थी।पुलिस ने गहनता से जांच के बाद मगंलवार को दो के विरूद्व जालसाजी,धोखाधड़ी समेत अन्य धाराओ में मुकदमा दर्ज कर आरोपियो समेत आधा दर्जन लोगो को हिरासत में लेकर पूंछताछ शुरू कर दी है।इंस्पेक्टर आलोक राव ने बताया राजस्व निरीक्षक हरेन्द्र सिंह की तहरीर पर सविंदाकर्मी समेत दो के विरुद्ध मुकदमा दर्ज कर गहनता से जांच की जा रही है।

गौरियाकला में भी फर्जी किसानो के नाम दर्ज की गयी जमीन…

गौरियाकला निवासी दीपक वरासत दर्ज कराने तहसील पहुंचे तो उन्हें पता चला कि खतौनी में उनके दिवंगत पिता बृज किशोर का नाम ही नही है। उनकी जगह खतौनी में बिना किसी आदेश के डिजिटल की के जरिये फर्जी तरीके से करोड़ों की जमीन अन्य लोगों के नाम दर्ज कर दी गई है। दीपक की शिकायत पर तहसीलदार ने जांच के बाद एसडीएम को फर्जी इंद्राज निरस्त करने के निर्देश दिये तब जाकर एसडीएम बृजेश कुमार वर्मा ने 31 अगस्त को इस मामले में भी फर्जी इंद्राज निरस्त कर जमीन फिर से मृतक ब्रज किशोर के नाम लौटाई।

फर्जीवाड़े में राजस्व निरीक्षक की डिजिटल की हुआ इस्तेमाल…

मोहनलालगंज तहसील में धौरहरा व गौरियाकला में किसानो की बेशकीमती जमीनो को बिना किसी प्रपत्रो के रियल टाइम खतौनी में जालसाजो के नाम दर्ज करने में राजस्व निरीक्षक हरेन्द्र सिंह की डिजिटल की का इस्तेमाल किया गया लेकिन उन्हे इस बात की भनक तक नही लगी ये बात किसी के गले नही उतर रही है।चर्चा तो यह है कि इस पूरें मामले के खेल के मास्टर माइंड से राजस्व निरीक्षक हरेन्द्र सिंह के सम्बन्ध हैं।यदि इनके मोबाईल फोन की काल डिटेल और सम्पति की जाँच की जाये तो कलई खुलने की संभावना जताई गई है ।

करोड़ो की जमीन के फर्जीवाड़े का पूरा ठिकरा सविंदाकर्मी पर फोड़ा….

बीते एक दशक से  तहसील में तैनात सविंदाकर्मी हेरम्ब शुक्ला अपना काम कर रहे थे,लेकिन करोड़ो की जमीनो के फर्जीवाड़े में जिस राजस्व निरीक्षक की डिजिटल की का इस्तेमाल हुआ उसे बचाते हुये अफसरो ने संविदाकर्मी हेरम्ब के विरूद्व नामजद तहरीर देकर इस खेल के पीछे के मास्टर माइंड को बचा दिया।हालाकि पूरे मामले में सविंदाकर्मी पर इतने बड़े फर्जीवाड़े का ठिकारा फोड़ने से अधिवक्ताओं से लेकर क्षेत्रीय लोगो ने  नाराजगी व्यप्त है।

फर्जीवाड़े वाले गांवो के लेखपाल को बचाने की कोशिश…..

धौरहरा व गौरियाकला गांवो के किसानो की रियल टाइम खतौनी में फर्जी लोगो के नाम दर्ज करने के मामले‌ में पुलिस ने जालसाजो को उठाया तो गौरियाकला में जिनके नाम जमीने दर्ज हुयी है,उन फर्जी चार किसानो ने लेखपाल को तीस तीस हजार रूपये करके करीब एक लाख बीस हजार रूपये दिये जाने की बात भी कही,जिसका कोई आडियो भी फर्जी किसानो ने पुलिस को सौपा है और पुलिस गहनता से पूरे मामले की जांच कर रही है।वही उक्त लेखपाल के कार का ड्राईवर जिसके जरिये लेनदेन होता है वो फर्जीवाड़ा सामने आने के बाद फरार है।वही लोगो का कहना है कि लेखपाल को बचाने का प्रयाश हो रहा है,इनकी भी संपत्ति और मोबाईल में तमाम राज दफन होने की आशंका जताई जा रही है ।

कही जालसाज प्रापर्टी डीलर तो नही है पूरे फर्जीवाड़े का मास्टर माइंड…

धौरहरा में करोड़ो की बेशकीमती साढे आठ बीघे जमीन जिस तरह फर्जीवाड़ा कर राम आधार यादव के नाम दर्ज करायी गयी और उसके बाद गोसाईगंज के एक प्रापर्टी डीलर ने कुछ लाख रूपये में जमीनो का अपने नाम एग्रीमेंट करा लिया।सूत्रो की माने तो प्रापर्टी डीलर पर मोहनलालगंज व गोसाईगंज में जालसाजी के कई मुकदमें दर्ज है और वह जमीनो के फर्जीवाड़े से कई लोगो की मोटी रकम डकार चुका है।उक्त डीलर की मोहनलालगंज तहसील में भी अच्छी पैठ है जिसके चलते ही उसने मोटी रकम देकर कुछ एक अधिकारियो व कर्मचारियो की मिलीभगत से इतना बड़ा फर्जीवाड़ा कराया होगा।

2021 में 17बीघे जमीन फर्जी किसानो के नाम दर्ज करने का हुआ था फर्जीवाड़ा….

2021 में भी मोहनलालगंज तहसील के रजिस्टार कार्यालय में प्रभारी के पद पर तैनाती के दौरान रिटायर्ड लेखपाल उमांशकर वर्मा ने डिजिटल की का प्रयोग कर फर्जी एवं कूट रचित आदेश का अकंन कर ग्रामसभा समेसी के भूमियों के वादो में नायाब तहसीलदार निगोहा द्वारा डेढ बीघे भूमि दर्ज किये जाने के आदेश में‌ हेरफेर कर दो बड़ी गांटाओ के खातेदारो सनीशेखर,चन्द्रशेखर,इन्द्रशेखर सहित अन्य काफी अरसे से लापता थे उनका नाम प्रथक कर रामबली पुत्र उमाशंकर निवासी रसूलपुर व रत्नेश कुमार पुत्र कैलाश निवासी रसूलपुर के नाम फर्जी तरीके से 17 बीघे जमीन दर्ज कर दी थी। फर्जीवाड़े का खुलासा होने पर तत्कालीन एसडीएम डा०शुभी सिहं ने पूरे मामले की जांच के बाद आरोपी रिटायर्ड लेखपाल उमांशकंर वर्मा के विरूद्व जालसाजी,धोखाधड़ी सहित अन्य धाराओ में मुकदमा दर्ज कराया था लेकिन आरोपी कोर्ट से अरेस्ट स्टे ले आया था ओर पूरा मामला ठंडे बस्ते में चला गया।

 दहेज हत्या के अभियुक्त को सात साल के कठोर कारावास की सजा

निगोहां थाना क्षेत्र में दहेज हत्या के मुकदमें के अभियुक्त सुनील कुमार को सजा दिलाने के लिये आपरेशन कन्विक्शन के तहत लखनऊ पुलिस व अभियोजन विभाग संयुक्त रूप से प्रयासरत था,अभियोजन व पुलिस की प्रभावी पैरवी के चलते मगंलवार को न्यायालय ने अभियुक्त सुनील कुमार निवासी कांटा करौदी थाना निगोहां को सात वर्ष के कठोर कारावास की सजा सुनाने के साथ ही 3हजार रूपये के अर्थदंड से भी दंडित किया।एसीपी रजनीश वर्मा ने बताया अभियुक्त सुनील कुमार को न्यायालय से सख्त सजा दिलाने के लिये निगोहां थाना प्रभारी अनुज कुमार तिवारी व पैरोकार कास्टेबल अनूप मौर्य बराबर पैरवी कर रहे थे,उक्त सभी की न्यायालय में मजबूत पैरवी से ही अभियुक्त सुनील को सात साल के कठोर कारावास की सजा समेत 3हजा रूपये के अर्थदंड से दंडित किया गया हैं।

 

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